मजदूरों से किराया लेने पर राजद का जवाब
पटना। बिहार के प्रवासी मजदूरों और छात्रों की घर वापसी पर बिहार में संग्राम मच गया है। कई जगहों से सूचना आई थी कि ट्रेन में सफर करते हुए छात्रों और प्रवासी मजदूरों से किराया लिया गया। जिसके बाद बिहार के विपक्षी दलों ने सरकार के घेरना शुरू कर दिया। लगातार शिकायतों के बाद बिहार सरकार ने अब नया फैसला लिया है।
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि लॉकडाउन में बिहार के प्रवासी मजदूरों और छात्र-छात्राओं का किराया राज्य सरकार देगी। उनसे किराया नहीं लिया जाएगा। बता दें कि पिछले दिनों राष्ट्रीय जनता दल के नेता तेजस्वी यादव ने कहा था कि वह 50 ट्रेनों का किराया देने को तैयार हैं।
50 ट्रेनों का किराया राजद देगा-तेजस्वी यादव
तेजस्वी यादव ने ट्वीट कर कहा था कि आदरणीय नीतीश कुमार जी, गरीब मजदूरों की तरफ से 50 ट्रेनों का किराया राजद वहन करने के लिए एकदम तैयार है, क्योंकि डबल इंजन सरकार सक्षम नहीं है। कृप्या अब अविलंब प्रबंध करवाइए। सुशील मोदी जी- कुल जोड़ बता दीजिए, तुरंत चेक भिजवा दिया जाएगा। वैसे भी आपको खाता-बही देखने का शौक है।
उधर लगातार आलोचना झेल रही नीतीश सरकार ने कहा कि प्रवासी मजदूरों को क्वारेंटाइन सेंटर से घर जाते वक्त राज्य सरकार उन लोगों को आने का पूरा खर्च और 500 रुपए अतिरिक्त देगी। हर व्यक्ति को कम से कम 1000 रुपए मिलेंगे।
लॉकडाउन में फंसे बिहार के मजदूरों और छात्रों से किराया लिए जाने के बाद बिहार में राजनीति होने लगी। जिसके बाद राजद नेता तेजस्वी यादव ने ट्वीट कर कहा था कि अगर बिहार सरकार किराया देने में सक्षम नहीं है तो बताए राजद 50 ट्रेनों का किराया देगा।
This website uses cookies.
Read More