नई दिल्ली। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने इसरो के प्रयासों का अपमान (Mamta Banerjee insults ISRO) किया। उन्होंने इसरो के वैज्ञानिकों अपमान (Mamta Banerjee insults ISRO) करते हुए कहा कि ऐसा आर्थिक मंदी से ध्यान भटकाने के लिए किया गया। ममता बनर्जी ने कहा कि इससे पहले भी चंद्रयान मिशन हुआ है लेकिन मानो देश में ऐसा मिशन पहला हो रहा हो।
ममता बनर्जी ने केंद्र की मोदी सरकार पर तीखा प्रहार करते हुए कहा कि मीडिया, न्यायपालिका-सभी केंद्र सरकार के सलाह से चलाए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि एनआरसी से वास्तविक भारतीय को देश में ही वंचित कर दिया गया। ममता बनर्जी ने मोदी सरकार चुनौती दी कि बंगाल में हिम्मत है तो एनआरसी लागू करवा के दिखाएं।
बता दें कि पीएम मोदी अपने दो दिवसीय रूस यात्रा से वापल लौटते ही इसरो के लिए रवाना हो गए थे। वे चंद्रयान-2 के इस ऐतिहासिक क्षण को देखने के लिए इसरो में मौजूद थे। पीएम मोदी शुक्रवार रात 9 बजे ही इसरो पहुंच गए थे। प्रधानमंत्री, इसरो के वैज्ञानिकों के साथ-साथ पूरे देश की निगाहें लैंडर पर टिकी थी।
हालांकि लैंडर विक्रम से इसरो का अंतिम समय में संपर्क टूट गया। जब लैंडर विक्रम चंद्रमा की सतह पर लैंड होने ही वाला था तभी अचानक इसरो कार्यालय में लैंडर विक्रम का सिंग्नल आना बंद हो गया। इसरो में करीब दस मिनट तक कनेक्टिविटी का इंतजार किया गया फिर इसरो चीफ ने कहा कि लैंडर विक्रम से संपर्क टूट गया।
पीएम मोदी ने वैज्ञानिकों की तारीफ करते हुए कहा कि भले ही लैंडर विक्रम से हमारा संपर्क टूट गया हो, लेकिन हमारा हौसला नहीं टूटा है। यात्रा जारी रहेगी। आप सब मक्खन पर लकीर खींचने वाले नहीं, बल्कि पत्थर पर लकीर खींचने वाले हैं।
पीएम मोदी ने कहा कि चंद्रयान के सफर का आखिरी पड़ाव भले ही आशा के अनुकूल न रहा हो, लेकिन हमें ये भी याद रखना होगा कि चंद्रयान की यात्रा शानदार रही है, जानदार रही है। हर मुश्किल, हर संघर्ष, हर कठिनाई, हमें कुछ नया सिखाकर जाती है।



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