नई दिल्ली। सभी लोगों का सपना होता है कि उनका भी अपना एक घर हो। इसी के मद्देनजर जीएसटी काउंसिल ने घर खरीदरों को एक बड़ा तोहफा दिया है। केंद्र सरकार ने निर्माणाधीन मकानों पर जीएसटी की दर 12 फीसदी से घटाकर 5 फीसदी कर दिया है। बता दें कि इससे पहले सरकार की तरफ से ऐसा संकेत दिया गया था कि जीएसटी काउंसिल की बैठक में इस संबंध में कोई बड़ा फैसला लिया जा सकता है।
रविवार को हुई जीएसटी काउंसिल की बैठक में घर खरीददारों को बड़ी राहत देते हुए सरकार ने निर्माणाधीन मकानों पर जीएसटी टैक्स की दरों में कटौती की है। इसके साथ-साथ सरकार ने किफायती घरों में भी जीएसटी टैक्स दरों में राहत दी है। पहले किफायती घरों पर 8 फीसदी का टैक्स लगता था जो कि अब मात्र 1 फीसदी कर दिया गया है।
किन-किन परिवारों को मिलेगा फायदा?
महानगरों में 45 लाख रुपये तक की लागत वाले और 60 वर्ग मीटर क्षेत्रफल के मकानों को इस श्रेणी में रखा गया है। छोटे-मझोले शहरों में 90 वर्ग मीटर तक के मकानों को इस श्रेणी में रखा जाएगा। आवासीय परियोजनाओं के इस नए जीएसटी की दरें 1 अपैल 2019 से लागू हो जाएंगी।
जीएसटी काउंसिल के इस फैसले को वित्त मंत्री अरुण जेटली ने बड़ा फैसला बताया है। वित्त मंत्री ने कहा कि ‘जीएसटी दर में कमी का फैसला निश्चित रूप से घर निर्माण क्षेत्र को बल प्रदान करेगा। रियल एस्टेट सेक्टर पिछले कुछ सालों से मंदी के कारण सरकार जीएसटी में राहत की उम्मीद कर रही थी। अब सरकार के इस फैसले से रियल स्टेट में फिर से गर्मी आ सकती है।
वहीं सरकार ने लॉटरी पर जीएसटी टैक्स को लेकर कोई निर्णय अभी नहीं लिया है। इसपर वित्त मंत्री ने कहा कि इस बारे में फैसला आगे के लिए टाल दिया गया है। वर्तमान में राज्य सरकार संचालित लॉटरी योजनाओं पर 12 फीसदी और राज्य सरकारों द्वारा अधिकृत लॉटरी पर 28 फीसदी का जीएसटी लगता है।
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